भारत की वैक्सीन का  डंका, 22 देशों ने मांगे ‘मेड इन इंडिया’ टीके

==== गोपेंद्र भट्ट =====  भारत में बनी कोरोना वैक्सीन का डंका अब दुनिया में बज रहा है। कोरोना वायरस की महामारी से जूझ रही दुनिया के कई देश  ‘मेड इन इंडिया’ टीके  की माँग कर रहें हैं।
केन्द्रीय स्वास्थ्य और परिवार मंत्री डॉ हर्ष वर्धन ने हाल ही लोकसभा में जानकारी दी कि विश्व के 22  देशों ने भारत में बने कोविड टीके की माँग की है उनमें अफ़ग़ानिस्तान, सऊदी अरब, म्यांमार, बांग्लादेश, दक्षिण अफ्रीका, मंगोलिया, ओमान, बांग्लादेश,
भूटान, श्रीलंका और नेपाल आदि प्रमुख रूप से शामिल हैं।
भारत की वैक्सीनभारत अपनी आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए अन्य देशों को वैक्सीन की आपूर्ति कर रहा हैं।
उन्होंने बताया कि भारत में कोविड-19 को मात देने वाली दवा यानी कोरोना वैक्सीन के सात और टीकें बन रहें हैं। जिनमें तीन अंतिम चरण में और दो दूसरे चरण में हैं।
खास बात यह है कि भारत निर्मित कोरोना वैक्सीन की कई  देशों ने भारत से आस लगा रखी है। दुनियाभर  में भारतीय कोरोना वैक्सीन डिमांड बढ़ रही है।
केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री का यह बयान भारतीय वैज्ञानिकों की महान उपलब्धि को दर्शाता है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कई मौक़ों पर कहा है कि भारत दुनिया में सबसे बड़ा वैक्सीन निर्माता और वितरक है।
मोदी ने यह भी कहा कि हम अपने देश की महान परम्परा के अनुसार विश्व की पीड़ित मानवीयता की मदद के लिए हर सम्भव प्रयास करेंगे और इस कथन अनुसार आज भारत कोविड के संकट काल में विश्व का नेतृत्व करता हुआ अपने देश में दुनिया का सबसे बड़ा टीकाकरण अभियान चलाते हुए अन्य देशों की मदद भी कर रहा हैं।
अमेरिका चीन रुस और यूरोप के देशों में बने फाइजर और मॉडर्ना आदि टीकों के मुक़ाबले भारत में बने टीकों  की माँग बढ़ना भारत की विश्व में प्रतिष्ठा बढ़ा रहा है।
जहां अन्य देशों में निर्मित टीकों के  ज्यादा साइड इफेक्ट सामने आए हैं, वहीं अब तक भारत के देसी वैक्सीन को लेकर ऐसे को प्रमाण सामने नहीं आए हैं।
इसके अलावा जो एक बात इसको खास बनाती है वो है कम लागत और प्रभावी डेटा। इसी आधार पर मेड इन इंडिया वैक्सीन की मांग लगातार बढ़ रही है।
भारत की वैक्सीन के वितरण में भारत सरकार उन देशों को खास तवज्जो दे रहीं है  जिन्हें इसकी ज्यादा जरूरत है। इनमें बांग्लादेश, भूटान, नेपाल, श्रीलंका और अफगानिस्तान जैसे पड़ोसी देश प्रमुख रूप से शामिल हैं।
साथ ही अन्य देशों से आने वाली डिमांड को भी पूरा करने का प्रयास किया जा रहा हैं। गरीब देशों के लिए डब्ल्यूएचओ में जाहिर की गई प्रतिबद्धता को भी भारत पूरा करने के प्रयासों में जुटा हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने खुद कहा है कि भारत दुनिया के लिए बड़ी उम्मीद बनकर उभरा है। विदेश मंत्रालय का कहना है कि भारत शुरू से ही कोविड 19 महामारी के खिलाफ लड़ाई में वैश्विक प्रतिक्रिया में सबसे आगे रहा है।
भारत  में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी  द्वारा 16 जनवरी 2021 को दुनिया के सबसे बड़े टीकाकरण अभियान की शुरूआत
हुई थी और आज  भारत अपने देश में टीकाकरण अभियान शुरू होने के 21 दिनों में कोविड-19 टीकाकरण में 50 लाख के स्‍तर पर पहुंचने वाला सबसे तेज देश हो गया है।
भारत  में कोविड का टीका लगने वाले स्वास्थ्य और फ़्रंट लाइन कार्यकर्ताओं और लाभार्थियों की कुल संख्या 58 लाख से अधिक हो गई है।
इसप्रकार भारत वैश्विक लैंडमार्क को सिर्फ 21 दिनों में 5 मिलियन के आंकड़े तक पहुंचाने वाला सबसे तेज देश है। कुछ अन्य देशों ने  इस लक्ष्य तक पहुंचने में 60 दिनों का लंबा वक्त लगाया ।
भारत में जिन लोगों को 16 जनवरी 2021 को टीका लगा है, उनके लिए 13 फरवरी 2021 से टीके की दूसरे डोज भी शुरू होगी।
टीके की पहली डोज के बाद प्रोविजनल डिजिटल वैक्सीनेशन सर्टिफिकेट जारी करने और दूसरी डोज के पूरा होने के बाद फाइनल सर्टिफिकेट जारी होंगे ।
साथ ही कोविन 2.0 वर्जन भी जल्द ही जारी किया जाएगा।
   इस बीच भारत ने 20 करोड़ से अधिक कोविड परीक्षण करके एक अभूतपूर्व रिकॉर्ड दर्ज किया है ।
कोविड की शुरुआत में भारत में नमूनों की जाँच के लिए मात्र एक प्रयोगशाला पुणे में थी लेकिन भारत सरकार के प्रयासों से आज आज देश में 2,369 परीक्षण प्रयोगशालाएं हैं, जिनमें 1,214 सरकारी तथा 1,155 निजी प्रयोगशालाएं शामिल हैं।
इस तरह परीक्षण के बुनियादी ढांचा में देशव्‍यापी विस्‍तार ने कोविड के परीक्षणों की संख्‍या तेजी से बढ़ाने में महत्‍वपूर्ण भूमिका निभाई है।
कोविड के ख़िलाफ़ जंग में भी भारत को ज़ोरदार सफलता मिली फलस्वरूप  देश में कुल संक्रमण दर घटकर वर्तमान में 5.39 प्रतिशत हो गई है।इसी प्रकार सक्रिय मामलों की संख्‍या भी घटकर 1.5 लाख से कम हो गई है, जो पिछले 8 महीनों में सबसे कम है।
भारत आज दुनिया में कोविड के संक्रमण की सबसे अधिक रिकवरी दर और मृत्यु दर में सबसे कम वाले देशों में शुमार हैं।