भोपाल, 14 मई (जनसमा)। मध्यप्रदेश की धर्मनगरी उज्जैन में चल रहे सिंहस्थ-2016 के सार्वभौम अमृत संदेश के आमुख में मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि मूल्य आधारित जीवन, मानवता के कल्याण के लिये धर्म, विज्ञान और अध्यात्म, जलवायु परिवर्तन, महिला सशक्तिकरण, कुटीर उद्योग, संवहनीय कृषि और स्वच्छता जैसे विषयों पर देश और विदेश के जाने-माने विद्वानों, चिंतकों और प्रज्ञावान संतों ने बहुमूल्य विचार रखे, जिसके लिये मैं उनका ह्रदय से आभारी हूँ। सार्वभौम संदेश शनिवार को उज्जैन के निनौरा में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मध्यप्रदेश सरकार द्वारा आयोजित तीन दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय विचार-महाकुंभ के समापन कार्यक्रम में विश्व के लिए जारी किया।
चौहान ने कहा कि पुण्य-सलिला क्षिप्रा के तट पर स्थित पवित्र नगर उज्जैन में आयोजित सदी के दूसरे सिंहस्थ में राज्य सरकार द्वारा युगों पुरानी विचार-मंथन की परम्परा को पुनर्जीवित करते हुए सामयिक विषयों पर विचार-विमर्श के लिए अंतर्राष्ट्रीय विचार महाकुंभ का आयोजन निनोरा, उज्जैन में 12-14 मई को किया गया।
शिवराज ने कहा कि सरसंघचालक श्रद्धेय मोहन राव भागवत जी, जिन्होंने उदघाटन सत्र में बहुमूल्य मार्गदर्शन दिया, के प्रति भी मैं आभार व्यक्त करता हूँ। उन्होंने विचार महाकुंभ आयोजन की प्रेरणा देने एवं उसमें पधारकर सिंहस्थ के सार्वभौम अमृत संदेश को जारी करने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के प्रति भी कृतज्ञता व्यक्त की।
मुख्यमंत्री ने कहा कि विचार महाकुंभ तथा उसके पूर्व आयोजित संगोष्ठियों में प्राप्त अनुशंसाओं तथा सुझावों के आधार पर सिंहस्थ-2016 का सार्वभौम अमृत संदेश तैयार किया गया। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि सार्वभौम संदेश में निहित मार्गदर्शी सिद्धांत मानव के सम्यक एवं परिपूर्ण जीवन का मार्ग प्रशस्त करेंगे।
Follow @JansamacharNews