नई दिल्ली, 10 मई | केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने शहर के एक ट्रैवल एजेंट, दो निजी कंपनियों के प्रमुखों और दिल्ली के एक वकील से 3,600 करोड़ रुपये के अगस्तावेस्टलैंड हेलीकॉप्टर सौदे में कथित रिश्वतखोरी के संबंध में मंगलवार को पूछताछ की।
सीबीआई सूत्रों ने कहा कि दिल्ली के ट्रैवल एजेंट आर.के. नंदा, आईडीएस इंफोटेक लिमिटेड इंडिया के अध्यक्ष प्रताप कुमार अग्रवाल, एयरोमैट्रिक्स इंफो सल्यूशंस प्राइवेट लिमिटेड के सीईओ प्रवीण बख्शी, और वकील गौतम खेतान से सीबीआई के दिल्ली मुख्यालय में पूछताछ की गई।
नंदा ने सीबीआई अधिकारियों को बताया कि बिचौलिए क्रिश्चियन मिशेल के साथ मिलकर उन्होंने 2005 में एक फर्जी कंपनी मीडिया एक्सिम बनाई थी। नंदा ने कहा कि अक्टूबर 2005 से अप्रैल 2007 के बीच मीडिया एक्सिम के खाते में दुबई स्थित मिशेल की कंपनी, ग्लोबल सर्विस एफजेडई से लगभग सात करोड़ रुपये भेजे गए थे।
सूत्रों ने कहा कि सीबीआई उस स्थान का सत्यापन करने की कोशिश कर रही है, जहां अंततोगत्वा धनराशि गई थी।
अग्रवाल और बख्शी से पूछताछ के बारे में सीबीआई सूत्रों ने कहा कि दोनों से अगस्तावेस्टलैंड को उनकी कंपनियों द्वारा उपलब्ध कराई गईं सेवाओं की प्रकृति के बारे में दोबारा पूछताछ की गई है।
सूत्रों ने कहा कि अग्रवाल और बख्शी को बुधवार को भी पूछताछ के लिए बुलाया गया है।
सीबीआई द्वारा अगस्तावेस्टलैंड मामले में मार्च 2013 में दायर की गई प्राथमिकी में फिनमेकेनिका, अगस्तावेस्टलैंड, आईडीएस इंफोटेक लिमिटेड इंडिया और एयरोमैट्रिक्स इंडिया के नाम आरोपी कंपनियों के रूप में शामिल हैं।
सूत्रों ने कहा कि खेतान पूछताछ के दौरान टाल-मटोल करते रहे।
खेतान ने इसके पहले सीबीआई को बताया था कि उसने अगस्ता के बिचौलिए गुइडो राल्फ हश्के और कार्लो गेरोसा से भुगतान लिए थे। वह एयरोमैट्रिक्स के बोर्ड के सदस्य भी रह चुके हैं।
खेतान ने आरोपी कंपनियों में से एक आईडीएस इंफोटेक (ट्यूनीशिया) की स्थापना में भी प्रमुख भूमिका निभाई थी। यह कंपनी आईडीएस इंफोटेक (इंडिया) की एक सहयोगी कंपनी है।
सूत्र ने कहा कि उनके पास इस बारे में सूचना है कि आईडीएस इंफोटेक ट्यूनीशिया के खाते में इटली स्थित किसी बैंक से ढेर सारी धनराशि स्थानांतरित की गई थी। बाद में इसे अन्य देशों को भेजा गया।
लेकिन जानकार सूत्रों ने कहा कि खेतान ने यह नहीं बताया कि उन्होंने किस उद्देश्य के लिए भुगतान प्राप्त किए थे।
यह हेलीकॉप्टर सौदा जनवरी 2013 में रद्द कर दिया गया था, लेकिन यह दोबारा तब उभर कर सामने आया, जब पिछले महीने इटली की एक अदालत ने हेलीकॉप्टर सौदे के संबंध में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का कथित तौर पर नाम लिया, लेकिन दोनों द्वारा की गई किसी गड़बड़ी का कोई विवरण नहीं दिया।
पूर्व वायुसेना प्रमुख एस.पी. त्यागी और 13 अन्य लोगों के नाम भी प्राथमिकी में दर्ज हैं। इसमें उनके चचेरे भाइयों और यूरोपीय बिचौलियों के नाम भी शामिल हैं।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।
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