देहरादून, 07 मार्च। उत्तराखण्ड के मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा है कि अल्पसंख्यक और पिछड़ेे तबकों की बालिकाओं की शिक्षा को प्रोत्साहित करने के लिए विशेष योजना बनाई जाएगी। मौलाना आजाद फाउंडेशन व हुनर योजना में धनराशि को बढ़ाने का प्रयास किया जाएगा।
रविवार को मुख्यमंत्री रावत नगर निगम स्थित टाउन हाल में आॅल इंडिया ओएनजीसी माइनोरीटी एम्प्लाॅईज जनरल वेलफेयर एसोसिएशन द्वारा आयोजित तीसरे शैक्षिक सम्मान समारोह में बतौर मुख्य अतिथि सम्बोधित कर रहे थे। रावत ने कहा कि आठवीं कक्षा के बाद अल्पसंख्यक वर्गों की छात्राओं को आगे पढ़ाई जारी रखने के लिए प्रोत्साहन योजना तैयार की जाएगी। आज जमाना कम्पीटीटिव एक्सीलेंस का है। राज्य सरकार का फोकस भी क्वालिटी एजुकेशन पर है। अल्पसंख्यक शिक्षण संस्थानों को दीनी तालिम व एकेडमिक तालिम के साथ ही स्किल डेवलपमेंट को भी प्रमुखता देनी चाहिए।
प्रतिभावान बच्चों को सम्मान के लिए आयोजित कार्यक्रम की सराहना करते हुए मुख्यमंत्री रावत ने कहा कि बच्चों को लगातार प्रोत्साहित किया जाए तो वे दुनिया भी बदल सकते हैं। उन्होंने कहा कि किसी भी धर्म में हमेशा अच्छाई की जीत की बात की जाती है। हमें केवल आगे की ओर देखना चाहिए और निरंतर देश समाज व स्वयं की तरक्की का प्रयास करना चाहिए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि समाज को इंसानियत की नजर से देखना चाहिए। आधी आबादी को साथ लिए बिना तरक्की नहीं की जा सकती है। आज लड़कियां शिक्षा में बेहतर प्रदर्शन कर रही हैं। हमने भी बहुत सी योजनाएं प्रारम्भ की हैं। जन्म से लेकर वृद्धावस्था तक किसी न किसी योजना को लेकर हम मातृशक्ति के साथ हैं। रावत ने शिक्षा में बेहतर प्रदर्शन करने वाले अल्पसंख्यक वर्ग के मेधावी छात्रछात्राओं को संस्था की ओर से सम्मानित किया।
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