लखनऊ, 11 जून | उत्तर प्रदेश में राज्यसभा की 11 सीटों के लिए शनिवार सुबह मतदान शुरू हो गया। विधान परिषद (एमएलसी) चुनाव में बड़े पैमाने पर हुई क्रॉस वोटिंग की आशंका से सभी राजनीतिक दलों की नींद उड़ी हुई है। एमएलसी चुनाव की ही तर्ज पर राज्यसभा के लिए भाजपा समर्थित प्रीति महापात्रा को हराने के लिहाज से गैर भाजपाई दल देर रात तक अपनी-अपनी रणनीति बनाने में जुटे रहे।
फोटो : भारतीय जनता पार्टी के नेता एम.जे. अकबर 31 मई, 2016 को भोपाल में राज्यसभा के लिए अपना नामांकन फाइल करते हुए। साथ में दिख रहे हैं मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और भाजपा नेता अनिल माधव दवे। (आईएएनएस)
दूसरी ओर, विधान परिषद में भाजपा के दूसरे प्रत्याशी दया शंकर सिंह की हार के बाद प्रीति के वोट प्रबंधक परेशान नजर आ रहे हैं। उधर, बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के देर रात तक पत्ते न खोलने की वजह से कांग्रेस के चुनाव रणनीतिकार भी उलझन में दिखाई दिए।
गौरतलब है कि राज्यसभा की 11 सीटों के लिए 12 प्रत्याशी मैदान में हैं। राज्यसभा चुनाव के एक दिन पहले हुए एमएलसी चुनाव में जमकर क्रॉस वोटिंग हुई। क्रॉस वोटिंग में गैर भाजपा दलों की रणनीति कामयाब रही और सारे जतन करने के बावजूद भाजपा अपने दूसरे प्रत्याशी दयाशंकर सिंह को नहीं जिता सकी।
ऐसी ही रणनीति राज्यसभा के चुनाव में भी नजर आने के आसार हैं। लिहाजा, सभी दल अपने-अपने राज्यसभा प्रत्याशियों को चुनाव जिताने की रणनीति में जुट गए हैं। शीर्ष नेताओं ने विधायकों के साथ डिनर पर रणनीति बनाई। राष्ट्रीय लोकदल (रालोद) ने भाजपा को हराने और सपा व कांग्रेस प्रत्याशी की जीत के लिए व्हिप जारी कर दिया है। रालोद के पास आठ वोट हैं। उसने इसमें से सात वोट सपा प्रत्याशियों को, जबकि एक वोट कांग्रेस के कपिल सिब्बल को देने का फैसला किया है।
बसपा ने राज्यसभा चुनाव के लिए दो प्रत्याशियों, सतीश चंद्र मिश्र और अशोक सिद्घार्थ को उतारा है जबकि भाजपा ने पूर्व कैबिनेट मंत्री शिव प्रताप शुक्ल को राज्यसभा का उम्मीदवार बनाया है। सपा ने पूर्व केंद्रीय मंत्री बेनी प्रसाद वर्मा, समाजवादी पार्टी के पूर्व नेता अमर सिंह, इलाहाबाद के दिग्गज नेता कुंवर रेवती रमण सिंह सहित सात लोगों को चुनावी मैदान में उतारा है।
मध्यप्रदेश से राज्यसभा की तीन सीटों के लिए विधानसभा में मतदान शनिवार को शुरू हो गया है, जिसमें 228 विधायक हिस्सा ले रहे हैं। कांग्रेस के सभी विधायक एक साथ बस में सवार होकर विधानसभा पहुंचे। भाजपा के विधायक एक-एक कर विधानसभा पहुंच रहे हैं। मतदान केंद्र के बाहर कांग्रेस विधायकों की लंबी कतार लगी हुई है।
राज्यसभा की तीन सीटों के लिए हो रहे चुनाव में भाजपा के दो उम्मीदवार अनिल माधव दवे और एम.जे. अकबर की जीत तय मानी जा रही है, वहीं एक निर्दलीय उम्मीदवार विनोद गोटिया को भाजपा ने समर्थन दिया है। कांग्रेस के उम्मीदवार विवेक तन्खा के समर्थन में 57 विधायक हैं। बसपा के चार विधायकों का भी समर्थन तन्खा को मिला है। इस तरह तन्खा की भी जीत आसान लग रही है। उन्हें जीत के लिए 58 विधायकों का समर्थन चाहिए।
राज्य विधानसभा में कुल 230 सदस्य हैं, जिनमें से एक की गुरुवार रात को सड़क हादसे में मौत हो गई, जबकि एक विधायक को सर्वोच्च न्यायालय ने मतदान में हिस्सा लेने की अनुमति नहीं दी। इस तरह कुल 228 विधायक ही मतदान में हिस्सा ले सकेंगे। इनमें से 227 को मतदान केंद्र पहुंचकर प्रत्यक्ष तौर पर मतदान करना होगा, जबकि कांग्रेस के विधायक सत्यदेव कटारे के लिए डाक मतपत्र मुंबई भेजा गया है। मुंबई में उनका एक अस्पताल में इलाज चल रहा है।
राज्य में राज्यसभा की तीन सीटों के लिए चार उम्मीदवार मैदान में हैं। मतदान विधानसभा भवन के समिति कक्ष दो में सुबह नौ बजे शुरू हो गया जो शाम चार बजे तक चलेगा। मतगणना शाम पांच बजे शुरू होगी। –आईएएनएस
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