पटना, 11 जुलाई | जिस उम्र में आमतौर पर खिलाड़ी संन्यास ले लेते हैं उस उम्र में पटना पाइरेट्स टीम के कप्तान धर्मराज चेरालथन युवाओं सा जोश दिखा रहे हैं। धर्मराज की उम्र 41 साल है, लेकिन कबड्डी के कोर्ट पर वह अपने किसी युवा साथी से कम फुर्तीले और जोश से सराबोर नजर नहीं आते।
कप्तान और अनुभव में सबसे आगे होने के कारण धर्मराज राइट व लेफ्ट डिफेंडर के तौर पर खेलते हैं और उन्होंने हमेशा अपने युवा साथियों के लिए प्रेरणा बनने का प्रयास किया है। इस प्रयास में वह लगभग हर बार सफल भी हुए हैं। यही कारण है कि उनकी टीम एक बेहतरीन मिश्रण और संयोजन के साथ स्टार स्पोर्ट्स प्रो कबड्डी लीग सीजन चार में छह में से पांच मैच जीत चुकी है।
धर्मराज तमिलनाडु के तंजावुर जिले से हैं और रेलवे में क्लर्क की नौकरी करते हैं। मधुर और सौम्य स्वभाव के धर्मराज के पास कबड्डी का 20 साल का अनुभव है और ऐसा कभी नहीं हुआ, जब उन्होंने कोर्ट पर अपने युवा साथियों से दोयम खेल दिखाया हो। वह हर बार ‘लीडिंग फ्राम द फ्रंट’ का बेहतरीन उदाहरण बने रहे।
तो ऐसा क्या है, जो 41 साल की उम्र भी कबड्डी जैसे चुनौतीपूर्ण खेल में धर्मराज को बनाए हुए है। धर्मराज ने आईएएनएस से बातचीत के दौरान कहा, “कबड्डी मेरे रग-रग में है। मेरा और इसका नाता कभी नहीं टूटा। मेरे पास 20 साल का अनुभव है। मैं इस खेल के हर पल का लुत्फ लेता हूं और जब तक संभव हो सके, खेलते रहना चाहता हूं। अब तक तो इस क्रम में उम्र आड़े नहीं आई लेकिन आगे क्या होगा, कह नहीं सकता।”
तो कबड्डी खेलने की प्रेरणा कहां से मिली? इस पर धर्मराज ने कहा, “गांव में मेरे सभी साथी कबड्डी खेला करते थे। हमने भी उन्हें देखकर शुरू किया और फिर इस खेल से प्यार हो गया। इसके बाद हम नेशनल खेले और फिर रेलवे में 21 साल की उम्र में नौकरी शुरू की। रेलवे में बने रहने के कारण कबड्डी से लगातार नाता बना रहा।”
धर्मराज के भाई कोबू स्टार स्पोर्ट्स प्रो कबड्डी लीग में दिल्ली दबंग टीम के लिए खेलते हैं। परिवार ही नहीं बल्कि पूरा इलाका धर्मराज और प्रो कबड्डी की सफलता से प्रेरित है और कबड्डी खेल रहा है। धर्मराज ने कहा, “पहले थोड़ा कम खेलते थे लेकिन अब अधिक से अधिक लोग कबड्डी की तरफ आ रहे हैं।”
कभी सोचा था कि कैमरों की चकाचौंध और जबरदस्त फैन सपोर्ट के बीच खेलने को मिलेगा? इस सवाल के जवाब में धर्मराज ने कहा, “ऐसा कभी नहीं सोचा था। बीते दो-तीन साल में जो बदलाव आया है, उसके बारे में मैंने तो कभी नहीं सोचा था। देश में कबड्डी के क्षेत्र में यह बहुत बड़ा बदलाव है और इस बदवाल के लिए मैं स्टार स्पोर्ट्स और एसोसिएशन को धन्यवाद देना चाहूंगा। इनके प्रयासों ने हमारी जिंदगी बदल दी है।” —आईएएनएस
(फाइल फोटो)
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