गुजरात में गिरनार पर्वत पर स्थित तीर्थ स्थलों की यात्रा के लिए आज से रोप वे व्यवस्था शुरू हो गई।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज 24 अक्टूबर, 2020 को महाष्टमी के अवसर पर रोप वे का लोकार्पण करते हुए कहा कि गिरनार पर्वत पर मां अंबे भी विराजती हैं, गोरखनाथ शिखर भी है, गुरु दत्तात्रेय का शिखर है और जैन मंदिर भी है। यहां की सीढ़ियां चढ़कर जो शिखर पर पहुंचता है, वो अद्भुत शक्ति और शांति का अनुभव करता है। अब यहां विश्व स्तरीय रोप-वे बनने से सबको सुविधा मिलेगी, दर्शन का अवसर मिलेगा।
उन्होंने कहा कि अगर गिरनार रोप-वे कानूनी उलझनों में नहीं फंसा होता, तो लोगों को इसका लाभ बहुत पहले ही मिलने लग जाता। हमें सोचना होगा कि जब लोगों को इतनी बड़ी सुविधा पहुंचाने वाली व्यवस्थाओं का निर्माण, इतने लंबे समय तक अटका रहेगा, तो लोगों का कितना नुकसान होता है।
मोदी ने कहा कि इस नई सुविधा के बाद यहां ज्यादा से ज्यादा श्रद्धालु आएंगे, ज्यादा पर्यटक आएंगे। आज जिस रोप-वे की शुरुआत हुई है, वो गुजरात का चौथा रोप-वे है। बनासकांठा में अंबाजी के दर्शन के लिए, पावागढ़ में, सतपूड़ा में तीन और रोप-वे पहले से काम कर रहे हैं।
प्रधानमंत्री के भाषण के मुख्य वाक्यांश हैं :
- अभी आपने भी देखा है शिवराजपुर बीज को अंतरराष्ट्रीय पहचान मिली है, Blue Flag certification मिला है। ऐसे स्थलों को विकसित करने पर वहां पर्यटक आएंगे और अपने साथ रोजगार के नए अवसर भी लाएंगे। स्टैच्यू ऑफ यूनिटी अब कितना बड़ा टूरिस्ट अट्रेक्शन बन रही है।
- आयुष्मान भारत योजना के तहत गुजरात के 21 लाख लोगों को मुफ्त इलाज मिला है। सस्ती दवाइयां देने वाले सवा 5 सौ से ज्यादा जनऔषधि केंद्र गुजरात में खुल चुके हैं। इसमें से लगभग 100 करोड़ रुपए की बचत गुजरात के सामान्य मरीज़ों को भी हुई है।
- गुजरात ने तो बिजली के साथ सिंचाई और पीने के पानी के क्षेत्र में भी शानदार काम किया है। इस कार्यक्रम में जुड़े हम सभी जानते हैं कि गुजरात में पानी की क्या स्थिति थी। बीते दो दशकों के प्रयासों से आज गुजरात उन गांवों तक भी पानी पहुंच गया है, जहां कोई पहले सोच भी नहीं सकता था।
- बीते दो दशकों में गुजरात ने आरोग्य के क्षेत्र में अभूतपूर्व काम किया है। चाहे वो आधुनिक अस्पतालों का नेटवर्क हो, मेडिकल कॉलेज हों, गांव-गांव को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाओं से जोड़ने का बहुत बड़ा काम किया गया है।