श्रीनगर, 26 जून | जम्मू एवं कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने रविवार को कहा कि रमजान के पवित्र महीने में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के आठ जवानों की हत्या शर्मनाक है। पंपोर के निकट शनिवार को शहीद हुए जवानों को श्रद्धांजलि देने के कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने कहा, “मैं हमले की निंदा करती हूं। बतौर एक मुस्लिम मैं इससे शर्मिदा हूं कि इस तरह की घटना रमजान के महीने में हुई, जिसमें ईश्वर से अपने गुनाहों के लिए तौबा मांगी जाती है, पुण्य के काम किए जाते हैं।”
लश्कर-ए-तैयबा के दो आत्मघाती आतंकियों ने हमले को अंजाम दिया था। इन दोनों की भी घटना में मौत हो गई।
उन्होंने कहा, “अल्लाह ने आदेश दिया है कि रमजान के महीने में हम लोगों को सभी तरह के पापकर्मो से दूर रहना चाहिए। इस तरह का कार्य केवल कश्मीर को बदनाम करता है।”
मुख्यमंत्री ने कहा, “दुनिया भर के सभी देशों ने अपने नागरिकों को कश्मीर की यात्रा नहीं करने की सलाह दी थी, लेकिन अब उन देशों ने अपनी यात्रा परामर्श में ढील दी है।”
महबूबा ने कहा कि इस तरह के कार्य से एक मां अपने पुत्र से, एक बहन अपने भाई से और एक परिवार अपनी आजीविका से वंचित हो जाता है।
उन्होंने कहा कि इस तरह के कार्य से शांति और विकास की गति अवरुद्ध होती है जिस रास्ते पर जम्मू एवं कश्मीर अभी बढ़ रहा है।
महबूबा ने कहा, “अपने कर्तव्य का निर्वहन कर रहे लोगों की हत्या से कश्मीर की बदनामी हुई है और जो लोग इस तरह के कार्यो में संलिप्त हैं वे इस्लाम की कोई सेवा नहीं कर रहे हैं।”
शहीद जवानों में उप निरीक्षक जयचंद्रन और संजय कुमार, हेड कांस्टेबल बीर सिंह व जगतार सिंह और सिपाही संतोष साहू, सतीश चंद और राजेश शामिल हैं।
हमले में सीआरपीएफ के 22 जवान घायल हो गए जिनका श्रीनगर स्थित सेना के एक अस्पताल में इलाज चल रहा है। —आईएएनएस
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