न्यूयॉर्क, 29 मई | वैज्ञानिकों ने सांख्यिकीय रूप से ऐसे दो महत्वपूर्ण जीनों की पहचान की है, जो पोस्ट-ट्रॉमैटिकस्ट्रेस डिसार्डर (पीटीएसडी) का जोखिम बढ़ाने के लिए जिम्मेदार होता है। पोस्ट-ट्रॉमैटिकस्ट्रेस डिसार्डर एक मानसिक स्वास्थ्य स्थिति है, जिसमें व्यक्ति किसी भयानक घटना को देखना और उसका अनुभव करना शुरू कर देता है।
अमेरिका स्थित युनिवर्सिटी ऑफ कैलिफोर्निया के प्रोफेसर मुरे बी.स्टीन ने बताया, “हमने दो उल्लेखनीय आनुवांशिक प्रकारों की खोज की है।”
इनमें पहला जीन क्रोमोसोम के पांचवे जोड़े में स्थित एनकेआरडी55 है और दूसरा जीन क्रोमोसोम 19 में स्थित है।
पिछले अनुसंधान में इस जीन का विभिन्न आटोइम्यून और इंफ्लेमेटरी विकारों के साथ संबंध मिला है, जिसमें टाइप 2 मधुमेह सीलिएक और रुमेटी गठिया शामिल है।
इस शोध के लिए वैज्ञानिकों ने 13,000 से अधिक अमेरिकी सैनिकों के डीएनए नमूनों का व्यापक रूप से परीक्षण किया था।
यह शोध ‘जेएएमए साइकियाट्री’ पत्रिका में प्रकाशित हुआ है।
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