भगवान हनुमान जी (Lord Hanuman) की 14वीं-15वीं शताब्दी की प्राचीन चोरी की गई प्रतिमा को पुनः प्राप्त कर लिया गया है और इस प्रतिमा को तमिलनाडु के आइडल विंग को सौंप दिया गया है।
भगवान हनुमान जी की इस प्रतिमा को भारत लेन से पहले इससे पहले ऑस्ट्रेलिया के कैनबरा (Canberra) में भारत के उच्चायुक्त को सौंपा गया था।
तमिलनाडु (Tamil Nadu) के अरियालुर जिले के पोट्टावेली वेल्लूर में स्थित श्री वरथराजा पेरुमल के विष्णु मंदिर से भगवान हनुमान की प्रतिमा को चुरा लिया गया था।
यह प्रतिमा उत्तर चोल काल (14वीं-15वीं शताब्दी) से संबंधित है। 1961 में “पांडिचेरी के फ्रांसीसी संस्थान” द्वारा इसे प्रलेखित किया गया था।
फरवरी, 2023 के अंतिम सप्ताह में इस प्रतिमा को भारत लौटा दिया गया और 18.04.2023 को केस प्रॉपर्टी के रूप में तमिलनाडु के आइडल विंग को सौंप दिया गया।
भारत सरकार देश के भीतर राष्ट्र की पुरातन विरासत को सुरक्षित रखने की दिशा में कार्य कर रही है और अतीत में अवैध रूप से विदेश ले जाए गए पुरावशेषों को वापस लाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है। अब तक 251 पुरावशेषों को विभिन्न देशों से वापस लाया गया है, जिनमें से 238 को वर्ष 2014 के बाद से स्वदेश लाया गया है।
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