नई दिल्ली, 24 अक्टूबर | भारतीय मीडिया और मनोरंजन उद्योग में अगले सात सालों में तीन से चार गुना तक बढ़ने का सामथ्र्य है। ऐसा डिजिटल मीडिया और ग्रामीण उपभोक्ताओं के इससे तेजी से जुड़ने से हो रहा है। एक रिपोर्ट में सोमवार को यह बात कही गई है। भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) और वैश्विक व्यावसायिक सलाहकार कंपनी बीसीजी भारतीय मीडिया और मनोरंजन उद्योग के भविष्य का अंदाजा लगा रहे हैं और इसके 100 अरब डालर के लक्ष्य को हासिल करने के लिए योजना बना रहे हैं।
इस रिपोर्ट के अंश यहां सोमवार को जारी किए गए।
पूरी रिपोर्ट सीआईआई-बीसीजी द्वारा मंगलवार को सीआईआई बिग पिक्चर समिट में यहां जारी होगी।
सीआईआई के महानिदेशक चंद्रजीत बनर्जी ने कहा, “स्मार्टफोन और मोबाइल डाटा के सस्ता होने के साथ यह आकलन किया गया है कि इससे जुड़े हुए ग्रामीण उपभोक्ताओं की संख्या वर्ष 2015 में 12 करोड़ से बढ़कर वर्ष 2020 तक 31.5 करोड़ हो जाएगी। यह साल दर साल 30 प्रतिशत से भी अधिक उछाल लेगा। हाल के समय में ग्रामीण उपभोक्ताओं की संख्या शहरी उपभोक्ताओं की तुलता में तेजी से बढ़ी है।”
उन्होंने कहा कि ऐसा ग्रामीण उपभोक्ताओं के हाई डेफिनिशन टीवी चैनलों से लेकर 4जी मोबाइल डिवाइस तक आधुनिकतम प्रौद्योगिकी खरीदने की मांग और इच्छा के कारण है। रेडियो के अपवाद को छोड़ दें तो मीडिया की ग्रामीण इलाकों में पहुंच 30 प्रतिशत (टीवी) से लेकर 60 प्रतिशत (इंटरनेट) तक हो गई है।
बीसीजी भारत के साझीदार और प्रबंध निदेशक कंचन सामतानी ने कहा, “मीडिया का डिजिटल उपभोग मीडिया के इस उपभोग के तरीके, इसे देखने की आदत और उपभोक्ता किस तरह की सामग्री को प्राथमिकता देता है, इसे दर्शाता है। इन आंकड़ों का बुद्धिमानी के साथ फायदा उठाने से सामग्री तैयार करने वालों उपभोक्ताओं की रुचि के अनुसार उन्हें लक्ष्य कर सामग्री मुहैया कराने में मदद मिल सकती है। –आईएएनएस
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