वाशिंगटन,18 जनवरी । अमेरिका की निजी विमानन कंपनी स्पेसएक्स ने रविवार सुबह 10:42 बजे कैलिफोर्निया के वंडेनबर्ग एयर बेस से फाल्कन 9 रॉकेट के जरिए महासागरों की निगरानी के लिए एक जेसन-3 उपग्रह को अंतरिक्ष में भेजा गया।
अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी ने एक बयान में कहा है कि नासा की साझेदारी वाला अमेरिकी-यूरोपीय महासागर विज्ञान उपग्रह मिशन, जेसन-3 के जरिए समुद्र के जलस्तर वृद्धि पर लगातार नजर रखी जाएगी और नपाई की जाती रहेगी।
इसके अलावा इस उपग्रह के जरिए उष्णकटिबंधीय चक्रवातों की गतिविधियों और तीव्रता पर नजर रखी जाएगी और मौसम की भविष्यवाणी व समुद्र तटों पर लहरों के प्रभाव को जांचने में मदद मिलेगी।
फोटो साभार: नासा
जेसन-3 से प्राप्त आंकड़े मत्स्यपालन प्रबंधन, समुद्री उद्योग और दुनिया के महासागरों में मानवीय प्रभावों पर अनुसंधान में भी लाभकारी होंगे। यह मिशन पांच वर्षो तक चलेगा।
पृथ्वी निचली कक्षा में 2008 में भेजे गए जेसम-2 उपग्रह के बाद जेसन-3से महासगरों की गतिविधियों और बर्फ को मापने की गति तेज होगी। इससे समुद्र के किनारे उठने वाले ज्वार और उथले महासगरों में आने वाले भीतरी ज्वार के बारे में और अधिक जानकारी मिल सकेगी।
एनओएए के उपग्रह एवं सूचना सेवा के सहायक प्रशासक स्टीफन वोल्ज ने कहा, “जेसन-3 से दुनिया के महासागरों से पर्यावरणीय जानकारी जुटाकर हमारी पृथ्वी के नब्ज की जानकारी प्रदान करेगा।”
इस 18 करोड़ डॉलर के मिशन से मौसम में सुधार, जलवायु और समुद्री अनुमान का पता चल सकेगा। यह एनओएए के राष्ट्रीय मौसम सेवा और अन्य वैश्विक मौसम और पर्यावरणीय अनुमान एजेंसियों को अधिक सही तरीके से उष्णकटिबंधीय चक्रवातों का अनुमान लगाने में मदद दे सकेगा।
Follow @JansamacharNews