नई दिल्ली, 15 जनवरी ।केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री जे पी नड्डा ने कहा, “आज जो मोबाइल-स्वास्थ्य से जुड़े कई कदम उठाए गए हैं, स्वास्थ्य सुविधाओं की पहुंच को और बढ़ाया जा सकेगा, ये सहूलियतें और किफायतें बन सकेंगी और हमारी व्यवस्था और मजबूत होगी। हम प्रधानमंत्री के विजन को ध्यान में रखते हुए सेवाओं को डिजिटल बनाने के रास्ते पर हैं। वह चार मोबाइल स्वास्थ्य (एमहेल्थ) सेवाओं – किलकारी, मोबाइल अकादमी, एम-सेसेशन और टीबी मिस्ड कॉल योजना के शुभारंभ के अवसर पर बोल रहे थे।
इन योजनाओं का शुभारंभ, जो कि सरकार के डिजिटल इंडिया कार्यक्रम का हिस्सा है, जन स्वास्थ्य को प्राथमिकता देने की सरकार की प्रतिबद्धता और नागरिक केंद्रित स्वास्थ्य सुविधाओं को मजबूत करने की दिशा में एक अहम कदम है। बढ़ते मोबाइल के इस्तेमाल के मद्देनजर यह सरकार की एक बड़ी पहल है।
इस तरह की पहलों के महत्व पर प्रकाश डालते हुए श्री जे पी नड्डा ने आगे कहा, ये मोबाइल स्वास्थ्य सुविधाएं स्वास्थ्य संचार में बड़ा परिवर्तन लाएंगी। मुझे पूरा भरोसा है कि इस तरह की सुविधाओं से हमें उन लोगों तक पहुंचने में मदद मिलेगी जिन्हें हमारी सेवाओं की सबसे ज्यादा जरूरत है। उन्होंने आगे कहा कि लोगों के फायदे के लिए प्रौद्योगिकी के इस्तेमाल पर आधारित प्रधानमंत्री के विजन को ध्यान में रखते हुए एम्स, नई दिल्ली के ओपीडी रजिस्ट्रेशन को भी अब ऑनलाइन कर दिया गया है। इससे लोगों को प्रतीक्षा समय करीब 6 घंटे से घटकर लगभग 1 घंटा रह गया है।
किलकारी के तहत सीधे परिवारों के मोबाइल फोनों पर गर्भावस्था, बच्चे के जन्म, बच्चों की देखभाल से जुड़े 72 ऑडियो संदेश गर्भावस्था की दूसरी तिमाही से लेकर बच्चे के एक साल का होने तक भेजे जाते हैं। पहले चरण में झारखंड, ओडिशा, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड और मध्य प्रदेश के उच्च प्राथमिकता वाले जिलों (एचपीडी) और राजस्थान में किलकारी लॉन्च हो चुकी है।
मोबाइल अकादमी एक मुफ्त ऑडियो ट्रेनिंग कोर्स है जो कि आशा कार्यकर्ताओं के ज्ञान को और बढ़ाने के मकसद से बनाया गया है। इस कोर्स के जरिए उनके संवाद कौशल को और बेहतर बनाया जाएगा। मोबाइल अकादमी अब मोबाइल फोन पर प्रशिक्षण देगी। इससे प्रशिक्षण किफायती और प्रभावी होगी। इससे प्रशिक्षण के लिए यात्रा करके आने के झंझट से मुक्ति मिलेगी। अब कार्यकर्ता अपने घर पर रहकर या जिस जगह पर उन्हें सुविधानजक लगे, प्रशिक्षण ले सकेंगे। मोबाइल अकादमी झारखंड, मध्य प्रदेश, राजस्थान और उत्तराखंड में शुरू की जा रही है।
एम-सेसेशन का उद्देश्य उन लोगों तक पहुंच बनाना है जो कि तंबाकू का सेवन छोड़ना चाहते हैं। इस योजना में युवक के मोबाइल फोन पर मैसेज भेजकर उसे तंबाकू छोड़ने की दिशा में प्रेरित किया जाएगा। नशा मुक्ति के लिए एम-सेसेशन परंपरागत तरीकों से कहीं ज्यादा किफायती है। यह दुनिया में पहली बार है जब किसी एम-स्वास्थ्य सुविधाओं के हिस्से के तौर पर दो तरफा सेवा दी जा रही है।
टीबी मिस्ड कॉल योजना के अंतर्गत एक टॉलफ्री हेल्पलाइन नंबर के जरिए टीबी से जुड़ी जानकारी, काउंसलिंग और उसके इलाज से जुड़ी जरूरी बातें बताई जाएगीं। इस अभियान में लोग मिस्ड कॉल या फ्री कॉल करके टीबी के लक्षण, इलाज के लिए उपलब्ध सेवाएं, उनका पता, संपर्क, नजदीकी स्वास्थ्य सुविधा आदि जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। शुरुआत में ये सेवा पंजाब, हरियाणा, चंडीगढ़ और दिल्ली के लोगों को उपलब्ध होगी।
स्वास्थ्य मंत्री ने सरकार के प्रयासों में भागीदारी को लेकर गेट्स फाउंडेशन, यूनिसेफ, यूएसएआईडी और अन्य विकास सहयोगियों की कोशिशों की सराहना की। साथ ही उन्होंने कार्यक्रम को और मजबूत बनाने के लिए हितधारकों से सुझाव आमंत्रित किए।
इस अवसर पर डॉ जगदीश प्रसाद, डीजीएचएस, श्री सीके मिश्रा, एएस एंड एमडी (एनएचएम), श्री अंशु प्रकाश, संयुक्त सचिव श्री मनोज झालानी, संयुक्त सचिव, और श्री राहुल मलिक, चीफ टेक्नोलॉजी ऑफिसर, गेट्स फाउंडेशन भी मौजूद थे।
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