राजस्थान की पेयजल समस्या का समाधान केन्द्र की प्राथमिकता: बिरेन्द्र सिंह

जयपुर, 01 फरवरी।केन्द्रीय ग्रामीण विकास मंत्री बिरेन्द्र सिंह ने कहा कि राजस्थान की पेयजल की समस्या का समाधान भारत सरकार की सर्वोपरि प्राथमिकता है।

सिंह रविवार को पाली नगर परिषद टाउन हॉल में आयोजित केन्द्र एवं राज्य सरकार की योजनाएं आगामी केन्द्रीय बजट पर सुझाव के लिए आयोजित संगोष्ठी में मुख्य अतिथि के रूप में बोल रहे थे।

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने पहली बार दूरदराज गांवों व जिलों में सभी केंद्रीय मंत्रियों को भेजा है ताकि वे वहां की स्थानीय समस्याओं तथा सुझावों के बारे में जान सकें और केंद्रीय बजट में इसके लिए प्रावधान किया जा सके। राजस्थान समेत समस्याग्रस्त राज्यों में पेयजल की समस्या का समाधान केन्द्र सरकार की सर्वोपरि प्राथमिकता है। इसके लिए राज्य सरकार को केंद्र सरकार बाहरी स्रोतों से धन दिलाने के लिए पूरा प्रयास करेगी। साथ ही केंद्रीय सहायता में भी अधिकतम राशि दिलाने का प्रयास किया जायेगा।

केन्द्रीय ग्रामीण विकास मंत्री ने कहा कि देश में राजस्थान सबसे अधिक फ्लोराइड की समस्या से ग्रस्त है। इसलिए केंद्र सरकार ने इस समस्या के समाधान के लिए एक हजार करोड़ रुपए का प्रावधान किया है। इसमें भी सबसे ज्यादा राशि राजस्थान को दी जा रही है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान की सराहना करते हुए कहा कि इस अभियान का आने वाले समय में अच्छा परिणाम आएगा। उन्होंने कौशल विकास के बारे में कहा कि पाली में इसकी अपार संभावनाएं हैं, इसलिए कॉरपोरेट जगत आगे आएं तथा युवाओं को प्रशिक्षण देकर उन्हें रोजगार से जोड़ें।

ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज मंत्री सुरेन्द्र गोयल ने कहा कि पाली जिले में केंद्र की योजनाओं का प्रभावी क्रियान्वयन हो रहा है। इसी का नतीजा है कि मनरेगा में पाली जिले ने 11 नवाचार कर देश में पहला स्थान प्राप्त किया है। साथ ही नरेगा में 100 दिन की मजदूरी की जगह 150 दिन की मजदूरी करने का भी सुझाव दिया।

ऊर्जा मंत्री पुष्पेन्द्र सिंह राणावत ने कहा कि राज्य ने ऊर्जा के क्षेत्र में काफी तरक्की की है। उन्होंने कहा कि बिलाड़ा, सिरीयारी, जोजावर होते हुए पिंडवाड़ा को स्टेट हाइवे बना दिया जाए तो इससे करीब आठ विधानसभा क्षेत्र के लोगों को लाभ हो सकेगा। उन्होंने टाडा माडा योजना को भी लागू करने का सुझाव दिया।

उप मुख्य सचेतक मदन राठौड़ ने कहा कि पश्चिमी राजस्थान की जीवन रेखा कहलाने वाले जवाईबांध की जवाई पुनर्भरण योजना की स्वीकृति केंद्र से मिल जाती है तो यहां की जनता को पेयजल की समस्या से निजात मिल सकती है।

पाली सांसद पी.पी. चौधरी ने कहा कि केंद्र सरकार ने प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के तहत राजस्थान को 1618 करोड़ रुपए की सहायता राशि दी है। इससे राज्य के करीब 1481 गांव-ढाणियां सड़क से जुड़ जाएगी। इस मौके पर उन्होंने जिले के विभिन्न संगठनों की ओर से दिए गए ज्ञापन, मांगों व सुझावों की प्रतियां केन्द्रीय मंत्री को सौंपी।