जयपुर, 31 मई (जनसमा)। राजस्थान के रेजीडेन्ट डॉक्टर्स से सकारात्मक बातचीत के बाद भी अनावश्यक हड़ताल पर जाने को गंभीरता से लेते हुए समस्त मेडिकल कॉलेज से सम्बद्ध चिकित्सालयों में सभी वैकल्पिक व्यवस्थाएं कर चिकित्सा सुविधाओं को सुचारू बनाये रखने के निर्देश दिये गये हैं। इनसर्विस रेजीडेन्ट के हड़ताल पर रहने की स्थिति में उन्हें तत्काल कार्यमुक्त कर मुख्यालय में भिजवाने एवं प्रथम वर्ष के नये प्रवेश लेने वाले रेजीडेन्ट के हड़ताल पर रहने पर उनका प्रवेश टर्मिनेट कर प्रतीक्षा सूचि से नये प्रवेश करने के भी निर्देश दिये गये हैं।
राजस्थान के चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री राजेन्द्र राठौड़ की अध्यक्षता में मंगलवार को शासन सचिवालय स्थित वीसी कक्ष में आयोजित वीडियो कॉन्फ्रेंस में यह निर्देश दिये गये। द्वितीय व तृतीय वर्ष के रेजीडेन्ट की परीक्षाओं के लिए उन्हें 6 माह से अधिक समय देने के भी निर्देश दिये गये। चिकित्सा मंत्री ने सभी प्राचार्यों को अभी मांग के अनुरूप तत्काल 1200 से अधिक नये नियुक्त होने वाले चिकित्सक उपलब्ध कराने के निर्देश दिये। इन चिकित्सकों की तत्काल नियुक्ति आदेश जारी कर कोटा मेडिकल कॉलेज में 150, अजमेर में 250, बीकानेर में 150, जोधपुर में 250, उदयपुर में 200, झालावाड़ में 50 एवं जयपुर में 250 सहित आवश्यकतानुसार नये चिकित्सक तैनात करने के निर्देश दिये।
उन्होंने इन सभी चिकित्सकों को आगामी 3 दिन में कार्यभार ग्रहण करवाने की व्यवस्था करने के निर्देश दिये हैं। इन चिकित्सकों की नियुक्ति होने तक सभी संयुक्त निदेशकों को मेडिकल कॉलेज से सम्बद्ध चिकित्सालयों में आवश्यकतानुसार चिकित्सक तत्काल उपलब्ध कराने के निर्देश दिये गये।
राठौड़ ने बताया कि रेजीडेन्ट डॉक्टर्स से उनकी मांगों पर सकारात्मक बातचीत और सहमति हो जाने के बावजूद उनका हड़ताल पर जाने का निर्णय कतई उचित नहीं है। उन्होंने प्रदेश के सभी मेडिकल कॉलेज प्राचार्यों को सभी सम्बद्ध चिकित्सालयों में आईसीयू, लेबर रूम, ऑपरेशन थियेटर, ट्रोमा इत्यादि की सभी व्यवस्थाओं को सामान्य बनाये रखने के निर्देश दिये गये हैं।
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