नई दिल्ली, 10 फरवरी (जनसमा)। भारतीय रेल में पारदर्शिता लाने के लिए डिजीटल इंडिया की ओर बढ़ रहा है और इसी दृष्टि से मंगलवार को तीन सूचना प्रौद्योगिकी आधारित एप्लीकेशन्स का शुभारंभ किया गया ।
केंद्रीय रेल मंत्री सुरेश प्रभाकर प्रभु ने रेल भवन में आयोजित एक समारोह में कहा कि इन परियोजनाओं में (i) दक्षिण केंद्रीय रेलवे के उपनगरीय सेक्शन में मोबाइल फोन के जरिए कागज रहित अनारक्षित टिकटिंग (ii) उत्तरी रेलवे में टीटीई के लिए हाथ में रखे जाने वाले टर्मिनल की पायलेट परियोजना (iii) नई दिल्ली और निजामुद्दीन रेलवे स्टेशन पर रेलगाड़ियों में डिस्पोजेबल चादरों की ई-बुकिंग शामिल है।
टीटीई के हाथ में रखने वाले टर्मिनल से पूरी रेलगाड़ी की यात्री सूची की स्थिति को अपडेट करने में मदद मिलेगी।
इस अवसर पर मुंबई सेंट्रल (बीसीटी) और छत्रपति शिवाजी टर्मिनस (सीएसटीएम) के शुभारंभ की भी घोषणा की गई। इस कार्यक्रम में रेल राज्य मंत्री मनोज सिन्हा अतिथि थे।
सीआरआईएस की मदद से भारतीय रेल ने कागज रहित अनारक्षित टिकटिंग मोबाइल एप्लीकेशन ‘यूटीसनमोबाइल’ तैयार किया है। यह एप्लीकेशन कागज रहित टिकट यात्रा के लिए 22 अप्रैल, 2015 को दक्षिणी रेलवे के चेन्नई एगमोर और ताम्बरम उपनगरीय सेक्शन के बीच पायलट परियोजना के रूप में शुरू किया गया था। बाद में इसका विस्तार पश्चिमी रेलवे के उपनगरीय सेक्शन, केंद्रीय रेलवे, उत्तरी रेलवे के नई दिल्ली-पलवल सेक्शन और पूर्वी रेलवे के कोलकाता उपनगरीय सेक्शन तक विस्तार किया गया। आज दक्षिण केंद्रीय रेलवे के उपनगरीय सेक्शन में मोबाइल फोन के जरिए कागज रहित अनारक्षित टिकटिंग परियोजना लागू की है।
अपने साथ ले जाने वाले ई-बिस्तर की पायलट परियोजना का शुभारंभ करते हुए सुरेश प्रभु ने कहा कि यह परियोजना पहले चेन्नई और त्रिवेंद्रम स्टेशन पर शुरू की गई थी और अब इस सुविधा को नई दिल्ली तथा हजरत निजामुद्दीन स्टेशन में भी शुरू किया गया है, जिसे यात्री इंटरनेट या नियत काउंटर के जरिए बुक कर सकते हैं।
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