शिमला, 01 जनवरी। हिमाचल प्रदेश के प्रमुख पर्यटक स्थलों शिमला व मनाली में व्हाइट न्यू ईयर मनाने की सैलानियों की चाहत इस बार भी पूरी नहीं हो पाई है।
इन पर्यटक स्थलों में आज दिन की शुरूआत धूप और बादलों की अठखेलियों के साथ हुई है। शिमला व मनाली में देशी-विदेशी सैलानियों का जमाबढ़ा लगा हुआ है। पर्यटक यहां हर साल बर्फबारी की चाह में पहुंचते हैं और क्रिसमस व न्यू ईयर पर इन्हें बर्फबारी का बेसब्री से इंतजार रहता है।
फोटोः शिमला में नए साल का जश्न मनाते हुए लोग (आईएएनएस)
इससे पूर्व वर्ष 2013 में नव वर्ष के मौके पर शिमला में भारी हिमपात हुआ था। इस बीच मौसम विभाग ने अगले 48 घंटों के दौरान आसमान के साफ बने रहने की संभावना जताई है। इसके बाद मौसम करवट ले सकता है।
शिमला स्थित मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक मनमोहन सिंह ने बताया कि 3 जनवरी तक हिमपात की संभावना नहीं है और दिन में धूप खिली रहेगी। 4 जनवरी को राज्य के उच्च पर्वतीय क्षेत्रों में बर्फबारी की संभावना है।
इधर, जनजातीय क्षेत्र केलंग में तापमान शून्य के नीचे चल रहा है। आज सुबह यहां न्यूनतम तापमान शून्य से 6.2 डिग्री नीचे दर्ज किया गया। मनाली व कुल्लू में न्यूनतम तापमान शून्य और कल्पा में 1.8 डिग्री सेल्सियस रहा। शिमला में न्यूनतम तापमान 7.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।
इस बीच नववर्ष 2016 का पर्यटकों समेत अन्य लोगों ने बीती रात जोरदार स्वागत किया। 12 बजते ही लोग खुशी से झूम उठे और एक दूसरे को नववर्ष की बधाई देते हुए सुखद भविष्य की कामना की।
राजधानी शिमला के रिज मैदान पर जुटे हजारों लोगों ने वर्ष 2016 का स्वागत जोशो खरोश से करते हुए पटाखे फोड़े और आतिशबाजी जलाई। रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम देर रात तक चल रहता।
इस दौरान शिमला के कालीबाड़ी, संकटमोचन और जाखू मंदिर में विशेष धार्मिक कार्यक्रम चल रहे हैं। इसी तरह कांगड़ा, बिलासपुर और उना जिलों में स्थित मां दुर्गा के प्रसिद्ध शक्तिीपीठों में सुबह से ही श्रद्धालुओं का तांता लगा हुआ है जो वर्ष के पहले दिन मां दुर्गा के समक्ष नतमस्तक हो रहे हैं। इस मौके पर मंदिरों में विशेष हवन यज्ञ का आयोजन भी किया गया है।
इस बीच स्वच्छ जीवन व आपदा प्रबंधन जागरूकता के संदेश को लेकर शिमला में एक दौड़ का आयोजन किया गया। इस हाफ मैराथन के पुरूष वर्ग में 30 जबकि महिला वर्ग में 10 किलोमीटर दौड़ का लक्ष्य रखा गया है। (हि.स.)
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