चंडीगढ़, 28 अगस्त। हरियाणा पुलिस ने व्हाट्सएप यूज़र्स को एडवाइजरी जारी करते हुए उन्हें व्हाट्सएप अकाउंट हैक करने के लिए जालसाजों द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले साइबर क्राइम के एक नए चलन के बारे में सचेत किया है।
साइबर जालसाजों के फर्जी मैसेज से सावधान रहने की सलाह देते हुए अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (कानून एवं व्यवस्था) नवदीप सिंह विर्क ने आज यहां बताया कि कोविड-19 की स्थिति के बाद काफी संख्या में आनॅलाइन गतिविधियों का चलन बढऩे से साइबर अपराधी लोगों और संगठनों को ठगने के लिए नए तरीकों का सहारा ले रहे हैं।
इस नए तरह के साइबर क्राइम में जालसाज भोले-भाले लोगों के व्हाट्सएप अकाउंट को हैक कर लेते हैं और इसका इस्तेमाल उनके दोस्तों और परिवार के सदस्यों के साथ वित्तीय धोखाधड़ी करने के लिए करते हैं।
हैकिंग के तरीके के बारे में बताते हुए विर्क ने कहा कि पहले हैकर एक फर्जी खाता बनाकर व्हाट्सएप तकनीकी टीम को प्रदर्शित करते हुए ‘ऑफिशियल व्हाट्सएप लोगो’ को डिस्पले पिक्चर के रूप में लगाते हैं।
उसके बाद टारगेट को मैसेज भेजकर अपनी पहचान सत्यापित करने के लिए छह अंकों का वैरिफिकेशन कोड सांझा करने को कहते हैं। व्हाट्सएप तकनीकी टीम से प्रतीत होता मैसेज आने पर पीडि़त झांसे में आकर वैरिफिकेशन पिन शेयर करता है।
तत्पश्चात लॉगइन के बाद अकाउंट हैकर की कंट्रोल में आ जाता है और वह किसी को मैसेज भी भेज सकता है। हैकर्स दोस्तों और परिवार के लोगों से धोखाधड़ी वाले संदेश भेज कर पैसे, पिन, ओटीपी आदि की मांग करते हैं।
विर्क ने एहतियाती उपायों पर प्रकाश डालते हुए यूज़र्स से कहा कि वे वैरिफिकेशन कोड को किसी के साथ शेयर न करें। उन्होंने सोशल मीडिया अकांउटस के लिए ‘टू-स्टैप वैरिफिकेशन’ अपनाने का भी सुझाव दिया। इससे उनके आकंउटस सेफ होंगे भले ही हैकर्स की वैरिफिकेशन कोड तक पहुंच हो, क्योंकि अकांउट में सफलतापूर्वक लॉग इन करने के लिए एक पासवर्ड की आवश्यकता होगी। साथ ही पिन या ओटीपी मांगने वाले मैसेजों पर कभी प्रतिक्रिया न करें क्योंकि सोशल मीडिया ऐपलीकेशन कभी भी ऐसी जानकारी के लिए कॉल या मैसेज नहीं करता है।
इसके अतिरिक्त, यूज़र्स यदि किसी के साथ छह अंकों का वैरिफिकेशन पिन सांझा करते हैं, तो अपने व्हाट्सएप अकांउट को तुरंत रि-वैरिफाई करे।
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