रायपुर, 21 अक्टूबर (जस)। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने राजधानी रायपुर में केन्द्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सी.बी.एस.सी.) स्कूलों के संगठन ‘अभ्युदय’ (सहोदया) के तीन दिवसीय 22वें राष्ट्रीय वार्षिक सम्मेलन का शुभारंभ करते हुए कहा कि राष्ट्र निर्माण में शिक्षकों की महत्वपूर्ण भूमिका है। नई पीढ़ी और समाज को गढ़ने का कार्य हमारे शिक्षक बखूबी कर रहे हैं। हमारी नई पीढ़ी ने अपनी प्रतिभा और परिश्रम से पूरी दुनिया में यह साबित कर दिखाया है कि भारत की नई पीढ़ी हर चुनौती का सामना करने में सक्षम है।
‘अभ्युदय’ (सहोदया) संगठन का गठन शिक्षा में गुणात्मक सुधार और एक दूसरे स्कूल से अध्ययन, अध्यापन और शिक्षा से जुड़ी बेहतर पद्धतियों को सीखने के उददेश्य से 1986 में किया गया। इस संगठन के छत्तीसगढ़ चेप्टर का गठन वर्ष 2011 में किया गया, जिसमें प्रदेश के 32 सीबीएसई स्कूल शामिल हैं। शुक्रवार को राजधानी रायपुर में आयोजित राष्ट्रीय सम्मेलन में देश और विदेशों के सीबीएसई स्कूलों के प्राचार्य बड़ी संख्या में शमिल हुए। सम्मेलन में सीबीएसई के चेयरमेन आर.के.चतुर्वेदी, संयुक्त सचिव मनोज श्रीवास्तव और भुवनेश्वर क्षेत्र के क्षेत्रीय अधिकारी एल.एल.मीणा विशेष अतिथि के रूप में उपस्थित थे। मुख्यमंत्री ने दीप प्रज्जवलित कर सम्मेलन का शुभारंभ किया। उन्होंने सम्मेलन की स्मारिका का विमोचन भी किया।
मुख्यमंत्री ने इस संगठन द्वारा शिक्षा को और भी अधिक गुणवत्तापूर्ण बनाने और शिक्षा के प्रचार-प्रसार के लिए किए जा रहे प्रयासों की प्रशंसा की। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह सम्मेलन कौशल उन्नयन पर केन्द्रित है। छत्तीसगढ़ देश का पहला राज्य है, जिसने कानून बनाकर प्रदेश के युवाओं को कौशल उन्नयन का अधिकार दिया है। प्रदेश के सभी 27 जिलों में लाइवलीहुड कॉलेज प्रारंभ किए गए हैं। इन कॉलेजों के साथ आईटीआई पॉलीटेक्निक कॉलेजों में युवाओं को उनकी रूचि के ट्रेड (व्यवसाय) में कौशल उन्न्यन का प्रशिक्षण दिया जा रहा है।
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