प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने विद्यार्थियों को अनुचित तनाव और दबाव के बिना अपनी जिंदगी जीने के लिए प्रोत्साहित किया है।उन्होंने विद्यार्थियों से चुस्त–दुरुस्त रहने का आग्रह किया ताकि वे ज्यादा अच्छा काम कर सकें।
प्रधानमंत्री मंगलवार 6 फरवरी को आईटीबीपी के दो भ्रमण समूहों के साथ दिल्ली आए सिक्किम और लद्दाख के 53 विद्यार्थियों से अनौपचारिक बातचीत कर रहे थे जो भारत के विभिन्न हिस्सों का दौरा कर रहे हैं।
प्रधानमंत्री के साथ में इन विद्यार्थियों ने एक समृद्ध और भ्रष्टाचार-मुक्त भारत के अपने विजन को साझा किया।
उन्होंने विद्यार्थियों से चुस्त–दुरुस्त रहने का आग्रह किया, ताकि वे ज्यादा उत्पादक साबित हो सकें। इस संदर्भ में योग की समान अहमियत पर भी विचार-विमर्श हुआ।
प्रधानमंत्री ने शिक्षा अथवा ज्ञान प्राप्ति के महत्व पर विशेष जोर दिया। प्रधानमंत्री ने कहा कि एक शिक्षार्थी बनने के लिए सदैव ही स्वाभाविक झुकाव होना चाहिए।
विद्यार्थियों ने डिजिटल इंडिया में विशेष दिलचस्पी दिखाई। इस दौरान नकद रहित लेन-देन पर भी चर्चा हुई। प्रधानमंत्री ने इस अवसर पर यह जानकारी दी कि प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण से आम आदमी किस तरह लाभान्वित हो रहे हैं।
इन विद्यार्थियों ने प्रधानमंत्री द्वारा लिखित पुस्तक ‘एक्जाम वारियर्स’ का उल्लेख किया।
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