पटना, 5 सितंबर | बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने यहां सोमवार को कहा कि बिहार में बेटियों की शिक्षा पर ज्यादा जोर दिया जा रहा है, बेटियां पढ़ जाएंगी तो आधी समस्या खत्म हो जाएगी। उन्होंने कहा कि शिक्षित बेटियों से ही सुशिक्षित समाज का निर्माण संभव है। इसके साथ ही उन्होंने सभी शिक्षकों से शिक्षा में गुणवत्ता लाने का आह्वान किया। शिक्षक दिवस पर पटना में आयोजित राजकीय शिक्षा सम्मान समारोह को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार संस्थाएं तो बहुत बना देगी, लेकिन गुणवत्ता तो शिक्षकों पर ही निर्भर है। उन्होंने कहा, “किसी भी राज्य के विकास में शिक्षकों का बड़ा महत्व होता है। बिहार कितना विकसित करेगा, यह शिक्षकों के हाथ में है।”
मुख्यमंत्री ने कहा कि बेटियों की पढ़ाई के लिए सरकार कई महत्वपूर्ण योजनाएं चला रही है, जिसमें बालिका पोशाक योजना और मुख्यमंत्री साइकिल योजना प्रमुख है।
उन्होंने कहा, “आज जब गांव और शहरों में बेटियां साइकिल पर सवार होकर स्कूल जाती हैं तो उनके चेहरे पर आत्मविश्वास झलकता है। बिहार में मां-बाप भी बेटियों की शिक्षा के प्रति जागरूक हुए हैं। साइकिल योजना से सामाजिक बदलाव आया है।”
मुख्यमंत्री ने कहा कि स्कूल के बाहर रहने वाले बच्चों की संख्या में भी गिरावट आई है। उन्होंने कहा कि सरकार सभी बेटियों को 12वीं तक की शिक्षा देना चाहती है।
नीतीश ने कहा कि शिक्षा के क्षेत्र में कई काम हुए हैं, लेकिन अभी कई काम शेष हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे सामने गुणवतापूर्ण शिक्षा की चुनौती है, जिसके लिए लगातार प्रयास किए जा रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा, “दो अक्टूबर से स्टूडेंट्स क्रेडिट कार्ड योजना शुरू की जाएगी। इसके बाद विद्यार्थियों को पैसे के लिए बैंक के चक्कर नहीं लगाने होंगे और उन्हें जरूरत के मुताबिक बैंकों से चार लाख तक ऋण मिल सकेंगे।” –आईएएनएस
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