नई दिल्ली, 29 नवंबर | संसद के निचले सदन लोकसभा में अघोषित आय या निवेश या बैंकों में जमा नकदी पर 60 फीसदी कर लगाने को लेकर आयकर नियमों में संशोधन के लिए कराधान कानून (द्वितीय संशोधन) विधेयक मंगलवार को ध्वनिमत से पारित हो गया। नोटबंदी के मुद्दे पर विपक्ष के हंगामे के बीच विधेयक को ध्वनि मत से पारित कर दिया गया।
विधेयक पर विचार कर उसे पारित करने के लिए सदन में विधेयक का मसौदा पेश करते हुए जेटली ने कहा कि यह कदम केंद्र सरकार द्वारा काले धन पर लगाम लगाने के लिए उठाए गए कदमों में से एक है।
उन्होंने कहा, “काले धन को अर्थव्यवस्था की मुख्यधारा में लाने का यह एक प्रयास है।”
विपक्षी सदस्यों ने हालांकि जोर देते हुए कहा कि सदन को पहले स्थगन प्रस्ताव के नियम के तहत विमुद्रीकरण पर चर्चा कराना चाहिए और उसके बाद विधेयक को पेश करना चाहिए।
तृणमूल कांग्रेस के सदस्य सुदीप बंदोपाध्याय ने सुझाव दिया कि चर्चा व विधेयक को एक साथ किया जा सकता है, जिसे अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने मंजूरी देने से इंकार कर दिया।
जब विपक्ष ने विरोध किया, तो अध्यक्ष ने शोरगुल के बीच विधेयक पर मतदान करा दिया और इसे ध्वनिमत से पारित कर दिया गया।
कराधान कानून (द्वितीय संशोधन) विधेयक, 2016 के तहत घोषणाकर्ता को 60 फीसदी कर चुकाने के बाद कर का 25 फीसदी अतिरिक्त सरचार्ज (आय का 15 फीसदी) चुकाना होगा, जिसका अर्थ है कि कुल लगभग 75 फीसदी कर चुकाना होगा। –आईएएनएस
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