तिरुवनंतपुरम, 19 अगस्त | केरल के प्रसिद्ध श्री पद्मनाभस्वामी मंदिर से करोड़ों रुपये के सोने की चोरी की खबरों पर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री वी. एस.अच्युतानंदन ने शुक्रवार को कहा कि मामले की केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) से जांच कराई जानी चाहिए। मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के दिग्गज नेता ने यहां एक बयान में कहा कि काफी पहले जब उन्होंने मंदिर में इस तरह की संदिग्ध गतिविधियों का मुद्दा उठाया था, तब उन पर यह कहकर हमला किया गया था कि यह तथ्यों से परे है।
अच्युतानंदन ने कहा कि उनकी बात की पुष्टि तब हुई, जब सर्वोच्च न्यायालय के आदेश पर पूर्व नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (सीएजी) विनोद राय ने ऑडिट किया और बताया कि ‘186 करोड़ रुपये कीमत के सोने की चोरी हुई है।’
अच्युतानंदन ने कहा, “चोरी हुए सोने की सच्चाई का पता लगाने का एक ही तरीका है और वह है मामले की सीबीआई जांच।”
मंदिर का प्रबंधन त्रावणकोर राज परिवार संभालता था। 2014 तक यही स्थिति रही। इसके बाद सर्वोच्च न्यायालय ने मंदिर के प्रबंधन की जिम्मेदारी पांच सदस्यीय समिति को सौंप दी।
शीर्ष न्यायालय का आदेश न्यायमित्र (एमिकस क्यूरे) गोपाल सुब्रमण्यम की उस रिपोर्ट पर आधारित था, जिसमें उन्होंने कहा था कि तत्कालीन त्रावणकोर राज परिवार के अंतर्गत मंदिर के प्रबंधन में सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है।
न्यायालय ने मंदिर में रखे कुल एक लाख करोड़ रुपये से अधिक कीमत के सोने व अन्य बेशकीमती खजाने का जायजा लेने का फैसला किया और इस बाबत सीएजी के पूर्व प्रमुख विनोद राय को मंदिर के बीते 25 वर्षो के खातों की ऑडिट करने के लिए कहा।
माना जाता है कि राय की रिपोर्ट 1,800 पन्नों की है। उन्होंने मंदिर में गड़बड़ी की ओर इशारा किया है और जांच के लिए एक समिति के गठन की सिफारिश की है।
साल 2011 से ही मंदिर और आसपास की सुरक्षा बेहद कड़ी कर दी गई है। मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या में भी बेहद इजाफा हुआ है।
राज परिवार ने विनोद राय की रिपोर्ट पर नाराजगी जताते हुए कहा है कि इस जांच में उन्होंने उनसे कोई बातचीत नहीं की। –आईएएनएस
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