नई दिल्ली, 19 मई (जनसमा)। भारत सरकार की महत्वाकांक्षी दीन दयाल उपाध्याय ग्राम ज्योति योजना (डीडीयूजीजेवाई) के अन्तर्गत 15 मई 2017 तक बिजली सुविधा से वंचित 18,452 गांव में से 13,469 गांव में बिजली पहुंचा दी गई है।
उल्लेखनीय है कि पंडित दीन दयाल उपाध्याय के अंत्योदय (अंतिम व्यक्ति की सेवा) दर्शन के अनुरूप 20 नवबंर, 2014 को भारत सरकार ने दीन दयाल उपाध्याय ग्राम ज्योति योजना (डीडीयूजीजेवाई) को स्वीकृति दी थी। यह एकीकृत योजना है जिसमें ग्रामीण बिजली वितरण के सभी पक्ष यानी फीडर का अलगाव, प्रणाली सुदृढीकरण तथा मीटरिंग शामिल हैं।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 15 अगस्त 2015 को स्वतंतत्रा दिवस के अवसर पर राष्ट्र को संबोधित करते हुए 1000 दिनों के अंदर बिजली से वंचित सभी गांव को बिजली प्रदान करने का संकल्प व्यक्त किया था। इसलिए, भारत सरकार ने ग्रामीण बिजलीकरण कार्यक्रम को मिशन मोड में लिया और मई 2018 तक बिजलीकरण का काम पूरा करने का लक्ष्य निर्धारित किया।
बिजलीकरण योजना से ग्रामीणों की जीवनशैली बदलने तथा ग्रामीण क्षेत्रों में समग्र सामाजिक आर्थिक विकास होने की आशा है। ग्रामीण क्षेत्रों में बिजली पहुंचने से जो लाभ हो सकते हैं उनमें कृषि में उत्पादकता वृद्धि, महिलाओं के लिए निरसता कम करना, बच्चों की शिक्षा में सुधार, सभी गांवों तथा घरों से संपर्क, ग्रामीण क्षेत्रों में विश्वसनीय बिजली सेवा, स्वास्थ्य और शिक्षा सेवाएं देने में सुधार, संचार साधनों (रेडियो, टेलीफोन, टेलीविजन, मोबाइल) तक पहुंच में सुधार तथा बिजली व्यवस्था से जनसुरक्षा में सुधार शामिल हैं।
ग्रामीण बिजलीकरण कार्य की प्रगति की निगरानी के लिए फील्ड में 350 से अधिक ग्राम विद्युत अभियंता (जीवीए) तैनात किये गये हैं। बिजली सुविधा से वंचित 18,452 गांवों में बिजलीकरण की प्रगति की निगरानी के लिए जीएआरवी मोबाइल एप (garv.gov.in) विकसित किया गया।
सभी 5.97 लाख गांवों में घरों के बिजलीकरण की निगरानी के लिए 20 दिसंबर, 2016 को अद्यतन जीएआरवी एप को लांच किया गया। अद्यतन जीएआरवी में संवाद-पारदर्शिता और दायित्त स्थापित करने में नागरिकों को शामिल करना- का विशेष फीचर है।
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