चित्रकूट, 21 फरवरी । “नेता जी आए थे और उनके साथ जिले के अधिकारी भी आए थे। उस समय गांव की समस्याओं के लिए प्रस्ताव रखा गया था पर तीन साल बीत जाने के बाद भी हालत जस की तस है। मुझे तो यह विकास समझ नहीं आ रहा है।” यह कहना है 50 वर्षीय इंद्र मोहन शुक्ला का, जो सांसद भैरों प्रसाद मिश्र के गोद लिए गांव के निवासी हैं। बुंदेलखंड के चित्रकूट जिले से करीब 35 किलोमीटर दूर स्थित हन्ना बिनैका गांव को बांदा से भाजपा सांसद भैरों प्रसाद मिश्र ने 2014 में गोद लिया था, लेकिन ग्रामीणों का कहना है कि गांव के विकास के लिए अब तक कुछ नहीं किया गया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लाल किले की प्राचीर से देश को जब पहली बार संबोधित किया था, तब उन्होंने कई योजनाओं की घोषणा की थी, जिनमें से सांसद आदर्श ग्राम योजना भी थी। इस योजना का मकसद गांवों का उत्थान करना था। हर सांसद को एक गांव गोद लेना था, पर इस योजना की जमीनी हकीकत निराशा पैदा करने वाली है।
पांच हजार की आबादी वाले हन्ना बिनैका में न तो सड़क है, न पानी। सफाई और शौचालय की कोई सुविधा नहीं है।
स्थानीय निवासी अनिल कुमार शुक्ला कहते हैं, “अच्छी सड़कें, साफ पानी की व्यवस्था होनी चाहिए। यह तो बुनियादी जरूरतें हैं पर इस गांव में तो गंगा ही उलटी बह रही है। यहां सड़कें तो पानी से भरी रहती हैं, मगर हैंडपंप सूखे हैं।”
अन्य ग्रामीण धर्मेद्र शुक्ला गांव की नालियों में सफाई नहीं होने की शिकायत करते हैं, “मेरी उम्र 40 साल है, पर मैंने आज तक यहां सफाई नहीं देखी। नालियां खुली हैं, जिसमें से मच्छर और कीड़े पैदा होकर बीमारियां पैदा कर रहे हैं।”
गांव की गर्भवती महिलाओं के प्रसव में भी पैसों की धांधली की बात यहां तैर रही है।
गांव के प्रधानपति मिथिलेश राय त्रिपाठी कहते हैं, “प्रस्ताव तो बहुत बने थे, पर कोई प्रस्ताव लागू नहीं हुआ।” वह खुद इस बात से अनजान है कि बजट अवांटित हुआ था या नहीं।
सांसद प्रतिनिधि सुशील द्विवेदी बताते हैं कि सड़क, स्वास्थ्य, जल व्यवस्था होगी, और साथ ही यहां डाकखाना भी खुलेगा। यह सब बातें अभी प्रस्ताव में हैं, जिनका क्रियान्वयन मार्च में होगा।
इस बीच बड़ा तुर्रा यह है कि भैरों प्रसाद मिश्र ने हन्ना बिनैका के अलावा 2015 में कटरा कलिंजर गांव को भी गोद ले लिया था।
–(आईएएनएस/खबर लहरिया)
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