श्रीनगर, 15 अगस्त | ‘‘झेलम नदी में इतना रक्त पहले से ही बह चुका है कि उसमें और रक्त के लिए जगह नहीं बची है।’’ यह बात मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने सोमवार को लाल चौक के नजदीक बख्शी स्टेडियम में स्वाधीनता दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में जनता के नाम अपने संबोधन में कहे।
मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने राष्ट्रध्वज फहराया और उपस्थित जनसमूह को संबोधित किया।
उन्होंने कहा, “मैं सुनिश्चित किया कि आतंकवाद-रोधी अभियानों के दौरान नागरिकों का इस्तेमाल मानव ढाल के तौर पर न किया जाए। मैं उदास हूं, क्योंकि कुछ अलगाववादी तत्व अपने कुत्सित हितों की पूर्ति के लिए आपके युवाओं का इस्तेमाल कर रहे हैं।”
मुख्यमंत्री ने कहा, “सन् 1990 से लेकर अब तक हजारों लोग मारे जा चुके हैं, लेकिन हमने क्या पाया? बीते 40 दिनों में हमने अपने युवाओं को उनके हवाले कर दिया, जिन्होंने अपने हितों के लिए उन्हें ढाल बनाया।”
उन्होंने कहा कि कश्मीरियों के घावों पर मरहम लगाने के लिए उनकी सरकार को समय की दरकार है।
घाटी में हालिया हिंसा की घटनाओं का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि राज्य के तीनों क्षेत्रों लद्दाख, जम्मू व कश्मीर के समान विकास के लिए शांति जरूरी है।
मुख्यमंत्री ने भारत व पाकिस्तान दोनों देशों से साथ आने और विभाजित कश्मीर के दोनों हिस्सों में शांति के लिए काम करने की अपील की।–आईएएनएस
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