वर्ष 2018 का एक लाख रु. का पुरस्कार (Rupees one lakh award) ‘संस्कृतश्रीः’(Sanskritshri) छत्तीसगढ़ की संस्कृति विदुषी डॉ पुष्पा दीक्षित को और ‘संस्कृत-गौरव’ पुरस्कार उत्तराखंड के ज्योतिष शास्त्र के विद्वान प्रो. देवीप्रसाद त्रिपाठी को दिया जाएगा।
उल्लेखनीय है कि अखिल भारतीय संस्कृत साहित्य सम्मेलन (Sanskrit Sahitya Sammelan) द्वारा प्रति वर्ष यह पुरस्कार देश के संस्कृत (Sanskrit) के प्रकाण्ड विद्वानों (Renowned scholars) को दिया जाता है।
इसके साथ ही उत्तर प्रदेश के भारतीय प्राचीन राजनीति शास्त्र के विद्वान डॉ. दिनेश कुमार गर्ग को ‘संस्कृत-भूषण’ पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा।
इन पुरस्कारों की घोषणा हाल ही में नई दिल्ली में सम्मेलन के महामंत्री रमाकांत गोस्वामी ने की।
उन्होंने बताया कि ‘संस्कृत श्रीः’ (Sanskritshri) एक लाख रु. का पुरस्कार (Rupees one lakh award) डाॅ. शीला दीक्षित की स्मृति में और ‘संस्कृत-गौरव’ (Sanskrit Gaurav) का एक लाख रु. का पुरस्कार (Rupees one lakh award) डॉक्टर गोस्वामी गिरधारी लाल की स्मृति में दिया जाएगा।
रमाकांत गोस्वामी (Ramakant Goswami) के अनुसार यह तीनों पुरस्कार पंडित मदन मोहन मालवीय के जन्म दिवस के अवसर पर 25 दिसंबर को एक भव्य समारोह में दिए जाएंगे।
गोस्वामी के अनुसार चयन समिति के सदस्यों अध्यक्ष- प्रोफेसर रमाकांत पांडेय, सदस्य – भागीरथि नंद, सदस्य – प्रोफेसर शिवशंकर मिश्रा, सदस्य – डॉ. जीतराम भट्ट ने सम्मेलन में आए हुए आवेदन-पत्रों पर गहनशोध व विचार-विमर्श के बाद सर्वसम्मति से यह निर्णय लिया।
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