केन्द्रीय वित्त मंत्री पीयूष गोयल ने संसद में अंतरिम बजट 2019.-20 पेश करते हुए कहा कि भारत को प्रदूषण मुक्त राष्ट्र बनाने के लिए इलैक्ट्रिकल वाहनों और नवीकरण ऊर्जा पर विशेष ध्यान दिया जाएगा।
वित्त मंत्री ने संसद में अगले दशक के लिए अपनी परिकल्पना पेश की।
सरकार ने 2030 में 10 सर्वाधिक महत्वपूर्ण आयामों को सूचीबद्ध करते हुएकहा कि हम एक ऐसे भारत का निर्माण करेंगे जहां गरीबी, कुपोषण, गंदगी और निरक्षरता बीते समय की बातें होगी।
फोटो : केन्द्रीय वित्त मंत्री पीयूष गोयल संसद में प्रवेश करते हुए
उन्होंने कहा कि भारत एक आधुनिक, प्रौद्योगिक से संचालित, उच्च विकास के साथ एक समान और पारदर्शी समाज होगा।
गोयल द्वारा उल्लेखित परिकल्पना-2030 के आयाम निम्नलिखित हैं :-
- इस परिकल्पना के प्रथम आयाम के अंतर्गत 10 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था और सहज-सुखद जीवन के लिए भौतिक तथा सामाजिक अवसंरचना का निर्माण करना है।
- परिकल्पना के दूसरे आयाम के अंतर्गत एक ऐसे डिजिटल भारत का निर्माण करना है जहां हमारा युवा वर्ग डिजिटल भारत के सृजन में व्यापक स्तर पर स्टार्ट-अप और इको-सिस्टम मे लाखों रोजगारों का सृजन करते हुए इसका नेतृत्व करेगा।
- भारत को प्रदूषण मुक्त राष्ट्र बनाने के लिए इलैक्ट्रिकल वाहनों और नवीकरण ऊर्जा पर विशेष ध्यान देना।
- आधुनिक डिजिटल प्रौद्योगिकियों का उपयोग करके ग्रामीण औद्योगीकीकरण विस्तार के माध्यम से बड़े पैमाने पर रोजगारों का सृजन करना।
- सभी भारतीयों के लिए सुरक्षित पेयजल के साथ स्वच्छ नदियां और लघु सिंचाई तकनीकों को अपनाने के माध्यम से सिंचाई में जल का कुशल उपयोग करना।
- सागरमाला कार्यक्रम के प्रयासों में तेजी लाने के साथ भारत के तटीय और समुद्री मार्गों के माध्यम से देश के विकास को सशक्त बनाना।
- हमारे अंतरिक्ष कार्यक्रम-गगनयान, भारत दुनिया के उपग्रहों को छोड़ने का “लांच पैड” बन चुका है और 2022 तक भारतीय अंतरिक्ष यात्री को अंतरिक्ष में भेजना इस आयाम को दर्शाता है।
- सर्वाधिक जैविक तरीके से खाद्यान्न उत्पादन और खाद्यान्न निर्यात में भारत को आत्म निर्भर बनाना और विश्व की खाद्यान्न आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए खाद्यान्नों का निर्यात करना।
- 2030 तक स्वस्थ भारत और एक बेहतर स्वास्थ्य देखभाल एवं व्यापक आरोग्यकर प्रणाली के साथ-साथ आयुष्मान भारत और महिला सहभागिता भी इसका एक महत्वपूर्ण घटक होगा।
- भारत को न्यूनतम सरकार, अधिकतम अभिशासन वाले एक ऐसे राष्ट्र का रूप देना जहां एक चुनी हुई सरकार के साथ कंधे से कंधा मिलाकर चलने वाले सहकर्मियों और अधिकारियों के अभिशासन को मूर्त रूप दिया जा सकता है।